नई दिल्ली (ट्रेवल पोस्ट) US Study Visa : अमेरिका में भारत समेत दुनियाभर से पढ़ने आने वाले छात्रों को एफ-1 वीजा दिया जाता है, जो स्टडी वीजा कहलाता है। हाल ही में अमेरिकी सरकार ने एफ-1 वीजा नियमों में बदलाव किया है, जिसकी वजह से वर्तमान में पढ़ रहे छात्रों समेत भविष्य में पढ़ने आने वाले छात्रों के लिए चुनौतियां खड़ी हो गई है। नए नियमों में छात्रों के अमेरिका से बाहर बिताए जाने वाले समयसीमा को सख्ती से तय कर दिया गया है। समयसीमा नहीं मानने पर स्टडी वीजा गंवाना पड़ सकता है।
सरकार के नए नियम के मुताबिक, विदेशी छात्रों को अपनी पढ़ाई के दौरान लगातार पांच महीने से ज्यादा देश से बाहर नहीं बिताना होगा। ये एक ऐसा नियम है, जिसकी वजह से विदेशी छात्रों के इंटर्नशिप से लेकर छुट्टियों तक के प्लान पर असर पड़ने वाला है। नए नियमों की वजह से उन छात्रों में सबसे ज्यादा चिंता का माहौल है, जिन्हें अपने कोर्स के तहत अमेरिका से बाहर जाना पड़ता है। विदेशी छात्रों के लिए रिसर्च, इंटर्नशिप, ग्लोबल एजुकेशन प्रोग्राम करना बेहद ही मुश्किल होने वाला है।
US Study Visa : क्या है एफ-1 वीजा?
एफ-1 वीजा एक गैर-आप्रवासी वीजा है, जो अमेरिका में पढ़ाई करने जाने वाले विदेशी छात्रों को मिलता है। ऐतिहासिक रूप से एफ-1 वीजा होल्डर्स को छुट्टियों, विदेश में कुछ सेमेस्टर की पढ़ाई या इंटरनेशनल इंटर्नशिप जैसी वजहों के लिए अमेरिका से बाहर यात्रा करने की इजाजत दी जाती रही है, बशर्ते कि वे एक निश्चित अवधि से ज्यादा नहीं हो। हालांकि, नए नियमों में साफ कर दिया गया है कि विदेशी छात्र स्टडी वीजा गंवाने की स्थिति में आए बिना पांच महीने से ज्यादा देश से बाहर नहीं रह सकते हैं।
नए नियमों ने उन छात्रों के लिए परेशानी बढ़ा दी है, जो ऐसे प्रोग्राम की पढ़ाई कर रहे हैं, जिसमें इंटरनेशनल एक्सपीरियंस जरूरी होता है। यह नियम ऑप्शनल इंटर्नशिप या एक्सचेंज प्रोग्राम को भी प्रभावित कर रहा है, जिसमें छात्र लंबी अवधि के लिए बाहर जाते हैं। यूनिवर्सिटीज को अब नए नियमों को अपनाने के लिए अपने कोर्सेज में बदलाव करने की जरूरत होगी। साथ ही साथ नए नियम की वजह से स्टूडेंट्स को अब नया फॉर्म I-20 हासिल करना होगा, जो अपने आप में ही खर्चीला होने वाला है।
